थाना खालापार पुलिस ने 12 अगस्त 2025 को एक फैक्ट्री में छापा मारकर करीब 1.5 करोड़ रुपये के नकली हेल्थ सप्लीमेंट बरामद किए और दो आरोपियों को गिरफ्तार किया।
बरामद माल में नकली प्रोटीन पाउडर, क्रिएटिन, ओमेगा कैप्सूल, एमिनो एसिड, हर्बल सप्लीमेंट्स समेत भारी मात्रा में कच्चा माल, स्टिकर, रैपर और पैकिंग मशीनें शामिल हैं।
छापेमारी की कहानी
पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली कि मोहल्ला किदवईनगर, सरैया मदरसा वाली गली में एक मकान में नकली हेल्थ सप्लीमेंट का उत्पादन हो रहा है।वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री संजय कुमार वर्मा के निर्देशन में, पुलिस अधीक्षक नगर श्री सत्यनारायण प्रजापत, क्षेत्राधिकारी नगर और थाना प्रभारी खालापार के नेतृत्व में टीम ने मौके पर पहुंचकर फैक्ट्री में छापा मारा।
अंदर का नजारा चौंकाने वाला था—
कमरे-भर में डिब्बे, बाल्टियां, ड्रम और कैप्सूल के ढेर।
पैकिंग मशीनें लगातार चल रही थीं और ‘MADE IN USA, RUSSIA, JAPAN’ लिखे हुए चमकदार डिब्बों में पाउडर और कैप्सूल पैक हो रहे थे।
गिरफ्तार आरोपी
- आसिफ सैफी (26 वर्ष)
निवासी – 1422/100 किदवईनगर, थाना कोतवाली नगर, मुजफ्फरनगर। - जावेद (37 वर्ष)
निवासी – वही पता, स्थायी पता – हरसौलिया पट्टी पूरबालियान, थाना मंसूरपुर, मुजफ्फरनगर।
बरामद माल का ब्योरा
पुलिस ने मौके से नकली सप्लीमेंट और कच्चा माल के साथ 60 से ज्यादा तरह की वस्तुएं बरामद कीं। इनमें शामिल हैं—
- विदेशी ब्रांड के नकली स्टिकर और रैपर (USA, Russia, Japan)
- SERIOUS GOLD STANDARD और BCAA + AMINO GOLD STANDARD जैसे नाम वाले डिब्बे
- क्रिएटिन, L-Carnitine, Omega-3 कैप्सूल की हजारों सील्ड बॉटल्स
- दर्जनों ड्रम भरा हुआ कच्चा पाउडर व कैप्सूल
- पैकिंग मशीन, कैप्सूल फिलिंग मशीन, इलेक्ट्रॉनिक तराजू, बारकोड प्रिंटर
- खाली और भरे हुए हजारों कैप्सूल, रंग-बिरंगे पाउडर और पॉलिथीन पैक
बरामद माल की बाजार कीमत लगभग ₹1.50 करोड़ आंकी गई है, जबकि इसकी लागत सिर्फ 15–20 लाख रुपये बताई जा रही है।
कैसे चलता था नकली कारोबार?
पूछताछ में आरोपियों ने खुलासा किया—
उनके पास हर्बल पावर फार्मेसी के नाम से लाइसेंस था, लेकिन उसी की आड़ में वे विदेशी ब्रांड के नकली हेल्थ सप्लीमेंट बनाते थे।
- कच्चा माल बाजार से या अन्य स्रोतों से सस्ते में खरीदकर,
- आकर्षक विदेशी लेबल (जो उन्होंने खुद छपवाए) चिपकाकर,
- पैकिंग मशीन से तैयार माल को ऊंचे दामों में बेचते थे।
यह माल या तो ऑनलाइन ऑर्डर पर भेजा जाता या ग्राहक खुद फैक्ट्री आकर खरीद लेता।
कानूनी कार्रवाई
आरोपियों के खिलाफ धारा 318(4)/338/336(3)/340(2)/274/275 बीएनएस और 60/63 कॉपीराइट एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
इनमें से एक आरोपी का पहले भी इसी तरह का आपराधिक इतिहास है (मुकदमा संख्या 622/21)।
पुलिस टीम का योगदान
इस सफल कार्रवाई में थाना खालापार की पूरी टीम ने दिन-रात मेहनत की।
टीम का नेतृत्व प्रभारी निरीक्षक श्री महावीर सिंह चौहान ने किया, जिनके साथ उपनिरीक्षक, हेड कांस्टेबल और कांस्टेबलों की संयुक्त टीम ने ऑपरेशन को अंजाम दिया।
जनता के लिए चेतावनी
यह घटना एक बड़ा सबक है—
सस्ते और आकर्षक पैकिंग वाले सप्लीमेंट पर आंख बंद करके भरोसा न करें।
हमेशा भरोसेमंद मेडिकल स्टोर या अधिकृत डीलर से ही हेल्थ सप्लीमेंट खरीदें।
क्योंकि जिम के नाम पर या फिटनेस के सपनों में, नकली और हानिकारक प्रोडक्ट आपकी सेहत के साथ खतरनाक खेल खेल सकते हैं।
सलाम खाकी टीम मुजफ्फरनगर पुलिस की इस सराहनीय कार्रवाई को सलाम करती है, जिसने न केवल करोड़ों का नकली माल पकड़ा बल्कि लोगों की जान से जुड़े खतरे को समय रहते रोक दिया।
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